अमित शाह बोले- बुआ-बबुआ ने यूपी को बनाया था बीमारू, अब डबल इंजन की सरकार से विकास को रफ्तार
गृहमंत्री अमित शाह ने कहा कि जब वह अलीगढ़ आते हैं तो महेंद्र प्रताप को कैसे भूल सकते हैं,
विधानसभा चुनाव में अतरौली से भाजपा प्रत्याशी प्रदेश सरकार के राज्य मंत्री व पूर्व मुख्यमंत्री कल्याण सिंह के नाती संदीप सिंह के लिए सभा को संबोधित करने पहुंचे गृह मंत्री अमित शाह ने सबसे पहले भारत माता की जय के साथ विजय संकल्प दिलाते हुए नारा लगवाया।
गृहमंत्री अमित शाह ने कहा कि जब वह अलीगढ़ आते हैं तो महेंद्र प्रताप को कैसे भूल सकते हैं, जिन्होंने शिक्षा के लिए जमीन दान दी। यह वही भूमि है जहां शहीद भगत सिंह शादीपुर गांव में रहे, यहाँ बलिदानियों की भूमि है। गोपालदास नीरज व हरिदास जी की भूमि है। अशोक सिंघल व कल्याण सिंह की कर्म भूमि है। हम भूल नहीं सकते हैं कि गुजरात से मुझे यहां प्रभारी बनाकर भेजा था, इतना बड़ा प्रदेश था पता नहीं क्या होगा, कैसे होगा।
मैने बाबू जी से समय मांगा, बाबू जी के साथ भोजन किया। उन्होंने बेटे की तरह अंगुली पकड़कर सिखाया। बाबू जी ने बिना बांटे पिछड़ा समाज को उसका अधिकार दिया, एक समय आया कि सीएम की कुर्सी चाहिए या राम मंदिर चाहिए तो उन्होंने कुर्सी पसंद नहीं किया और इस्तीफा दे दिया। उनके चेहरे पर खुशी का भाव था। बाबू जी की आत्मा को जरूर शांति मिलती होगी कि उनके रहते हुए पीएम ने निर्माण की नींव रखी। मै यहां की जनता से हाथ जोड़कर निवेदन करने आया हूं कि पहले 2014 में फिर 2017 में सरकार बनाई, 2019 में फिर पीएम को बनाया। अब 2022 में फिर सीएम योगी को मुख्यमंत्री बनाना है। बुआ, भतीजा सपा बसपा प्रदेश का भला नहीं कर सकती। इन्होंने बीमारू प्रदेश बनाया, यहां अब डबल इंजन की सरकार है। अब गरीब के घर मे टॉयलेट है, हर घर मे बिजली है, क्या समाज वादी में हर घर मे बिजली आती। अगर बुआ बबुआ की सरकार होती तो क्या गरीब को सिकन्दर मिलता, आयुष्मान में क्या पांच लाख तक का लाभ मिलता अब घर मे लाइट, टॉयलेट व गरीब को घर मिल रहा है। यह पीएम व सीएम की मेहनत का फल है। कोरोना का टीका मुफ्त लगवाया, अखिलेश इसका विरोध करते थे, वह गुमराह करते थे, लेकिन, बाद में डरकर उन्होंने भी टीका लगवा लिया। अगर उनकी बात मानकर टीका नहीं लगवाते तो क्या तीसरी लहर में बच पाते।